National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है, स्थापना, कार्य प्रणाली भूमिका

National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग एक संविधिक निकाय है इसका गठन संसद में पारित अधिनियम के अंतर्गत हुआ था, जिसका नाम, मानवाधिकार संरक्षण अधिनियम 1993, इसके बाद सन 2006 ई इस अधिनियम को संशोधित किया गया

National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है
National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है

National Human Rights Commission:राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है

  • राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग का प्रधान कार्यालय दिल्ली में स्थित है आयोग की अपनी कार्य प्रणाली है तथा वह यह करने के लिए अधिकृत है-आयोग के पास सिविल न्यायालय जैसी सभी अधिकार व शक्तियां हैं आयोग, केंद्र अथवा राज्य सरकार से किसी भी जानकारी अथवा रिपोर्ट की मांग कर सकता है |
  • मानवाधिकार उल्लंघन से संबंधित शिकायतों की जांच हेतु स्वयं का जांच दल है इसके अतिरिक्त आयोग केंद्र अथवा राज्य सरकारों की किसी भी अधिकारी या जांच एजेंसी की सेवाएं ले सकता है |
  • हालांकि आयोग उन्हें मामलों में जांच कर सकता है जिन्हें घटित हुई 1 वर्ष से कम समय हुआ हो
  • राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग संविधान द्वारा अभी निश्चित या अंतरराष्ट्रीय संधियों में निर्मित और भारत में न्यायालय द्वारा अधिरुप्पित किए जाने वाले जीवन स्वतंत्रता क्षमता और व्यक्तिगत मर्यादा से संबंधित अधिकार हैं
  • राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की स्थापना के महत्वपूर्ण उद्देश्य निम्नलिखित हैं
  • उन संस्थागत व्यवस्थाओं को मजबूत करना जिसके द्वारा मानव अधिकार के मुद्दों का पूर्ण रूप से समाधान किया जा सके
  • अधिकारों के अतिक्रमण को सरकार से स्वतंत्र रूप से इस प्रकार से देखा ताकि सरकार का ध्यान उसके द्वारा मानवाधिकारों की रक्षा की प्रतिबद्धता पर केंद्रित किया जा सके
  • इस दिशा में किए गए प्रयासों को पूर्ण व सशक्त बनाना है

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग में कितने सदस्य होते हैं (National Human Rights Commission Members) 

  1. आयोग एक बहु सदस्यीय संस्था है जिसमें एक अध्यक्ष व चार सदस्य होते हैं
  2. आयोग का अध्यक्ष भारत का कोई सेवानिवृत्ति मुख्य न्यायाधीश होना चाहिए
  3. एक सदस्य उच्चतम न्यायालय में कार्यरत अथवा सेवा निवृत न्यायाधीश से
  4. एक उच्च न्यायालय का कार्यरत या सेवानिवृत्ति मुख्य न्यायाधीश होना चाहिए
  5. दो अन्य व्यक्तियों को मानवाधिकार से संबंधित जानकारी अथवा कार्य अनुभव होना चाहिए इन पूर्णकालिक सदस्यों के अतिरिक्त आयोग में
  6. चार अन्य पदेन सदस्य भी होते हैं राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग राष्ट्रीय अनुसूचित जाति व राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग व राष्ट्रीय महिला आयोग के अध्यक्ष

आयोग का गठन

National Human Rights Commission: के अध्यक्ष व सदस्य की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा प्रधानमंत्री के नेतृत्व में गठित 6 सदस्य समिति की सिफारिश पर होती है समिति में प्रधानमंत्री, लोकसभा अध्यक्ष, राज्यसभा के उपसभापति, संसद के दोनों सदनों के मुख्य विपक्षी दल के नेता व केंद्रीय गृह मंत्री होते हैं इसके अतिरिक्त भारत के मुख्य न्यायाधीश की सलाह पर उच्चतम न्यायालय के किसी न्यायाधीश अथवा उच्च न्यायालय के किसी मुख्य न्यायाधीश की नियुक्ति हो सकती है

आयोग के अध्यक्ष व सदस्य का कार्यकाल 5 वर्ष अथवा जब उनकी उम्र 70 वर्ष हो जो भी पहले हो, का होता है अपने कार्यकाल के पश्चात आयोग के अध्यक्ष व सदस्य केंद्र सरकार अथवा राज्य सरकारों में किसी भी पद के योग नहीं होते हैं

  • राष्ट्रपति के द्वारा राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष अथवा सदस्यों को उनके पद से किसी भी समय निम्नलिखित परिस्थितियों में हटाया जा सकता है जैसे-
  1. यह दुआ दिवालिया हो जाए या
  2. यदि वह अपने कार्यकाल के दौरान अपने कार्य क्षेत्र से बाहर किसी प्रदत्त रोजगार में सम्मिलित हो या
  3. यह मानसिक शारीरिक कर्म से कार्य करने में असमर्थ हो या
  4. यदि वहां मानसिक रूप से अस्वस्थ हो तथा सक्षम न्यायालय ऐसी घोषणा करें या
  5. यदि न्यायालय द्वारा किसी अपराध का दोषी अथवा सजा सुनाया जा चुका हो
  6. इसके अतिरिक्त राष्ट्रपति अध्यक्ष तथा किसी भी सदस्य को उसके दुराचार या अक्षमता के कारण भी पद से हटाया जा सकता है
  7. हालांकि इस स्थिति में राष्ट्रपति इस विषय को उच्चतम न्यायालय में जांच के लिए यदि जांच के उपरांत उच्चतम न्यायालय इन आरोपों को सही पाता है तो उसकी सलाह पर राष्ट्रपति इन सदस्यों का अध्यक्षों को उनके पद से हटा सकता है

आयोग के सदस्यों का वेतन

  • National Human Rights Commission of India के अध्यक्ष व सदस्यों के वेतन, भत्ते व अन्य सेवा शर्तों का निर्धारण केंद्र सरकार द्वारा किया जाता है परंतु नियुक्ति के उपरांत उनमें लाभकारी परिवर्तन नहीं किया जा सकता
  • उपरोक्त सभी अपबंधों का उद्देश्य आयोग की कार्यशैली को श्वेता स्वाधीनता तथा निष्पक्षता प्रदान करना है

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के कार्य (Functions of National Human Rights Commission)

  • मानवाधिकार के उल्लंघन की जांच करना अथवा किसी लोक सेवक के समक्ष प्रस्तुत मानव अधिकार उल्लंघन की प्रार्थना जिसकी कि वह अवहेलना करता हो की जांच स्वप्रेरणा या न्यायालय के आदेश से करना |
  • न्यायालय में लंबित किसी मानवाधिकार से संबंधित कार्यवाही में हस्तक्षेप करना
  • जेल बंदीगृह में जाकर वहां की स्थिति का अध्ययन करना इस बारे में सिफारिश है करना
  • मानवाधिकार की रक्षा हेतु बनाए गए संवैधानिक विधि की समीक्षा करना इसके प्रभाव भी क्रियान्वयन हेतु उपाय की सिफारिश करना
  • आतंकवाद सहित उन सभी कार्य की समीक्षा करना जिससे मानवाधिकारों का उल्लंघन होता है तथा इसे बचाव के उपायों की सिफारिश करना
  • मानव अधिकारों से संबंधित अंतर्राष्ट्रीय संधियों का दस्तावेजों का अध्ययन उनको प्रभावशाली तरीके से लागू करने हेतु सिफारिश करना
  • मानवाधिकारों के क्षेत्र में शोध करना और इसे प्रोत्साहित करना
  • लोगों के बीच मानवाधिकारों की जानकारी फैलाव व उनकी सुरक्षा के लिए उपलब्ध उपाय के प्रति जागरूक करना
  • मानवाधिकारों के क्षेत्र में कार्यरत गैर सरकारी संगठनों के प्रयासों की सराहना करना
  • ऐसे आवश्यक कार्यों को करना जो कि मानवाधिकारों के प्रचार के लिए आवश्यक हो

आयोग की भूमिका

  1. यदि पीड़ित व्यक्ति को क्षतिपूर्ति या नुकसान के भुगतान के लिए संबंधित सरकार या प्राधिकरण को सिफारिश कर सकता है
  2. यह दोषी लोक सेवक के विरुद्ध बंदीकरण हेतु कार्यवाही प्रारंभ करने के लिए संबंधित सरकारी प्राधिकरण को सिफारिश कर सकता है
  3. यह संबंधित सरकारी प्राधिकरण को पीड़ित तत्काल अंतरिम सहायता प्रदान करने की सिफारिश कर सकता है
  4. आयोग इस संबंध में आवश्यक निर्देश आदेश अथवा रिट के लिए उच्चतम न्यायालय अथवा उच्च न्यायालय में जा सकता है
  • उपरोक्त बिंदुओं से स्पष्ट है कि आयोग का कार्य वस्तुतः सिफारिश या सलाहकार का होता है आयोग मानवाधिकार उल्लंघन के दोषी को दंड देने का अधिकार नहीं रखता है ना ही आयोग पीड़ित को किसी प्रकार की सहायता जैसे आर्थिक सहायता
  • आयोग अपनी वार्षिक अथवा विशेष रिपोर्ट केंद्र सरकार से संबंधित राज्य सरकारों को भेजता है इन रिपोर्ट्स को संबंधित विधायिका के समक्ष रखा जाता है इसके साथ ही वह विवरण भी होते हैं जिनमें आयोग द्वारा की गई सिफारिश पर की गई है उल्लेख तथा ऐसी किसी सिफारिश को न मानने के क्रम का उल्लेख होता है
National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है, स्थापना, कार्य प्रणाली भूमिका
National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है, स्थापना, कार्य प्रणाली भूमिका

आयोग के द्वारा निम्नलिखित विषयों पर कार्य किया है :-

  1. बंधुआ मजदूरी की समाप्ति
  2. रांची, आगरा, ग्वालियर में मानसिक अस्पतालों का संचालन
  3. आगरा स्थित सरकारी सुरक्षा गृह (महिला) का संचालन
  4. भोजन का अधिकार से संबंधित मुद्दे
  5. बाल विवाह रोक अधिनियम 1929 की समीक्षा
  6. बाल अधिकार पर समय से संबंधित प्रोटोकॉल
  7. सरकारी सेवकों द्वारा बच्चों को रोजगार में जाने से रोकना: सेवा नियमावली में संशोधन
  8. बाल श्रम की समाप्ति
  9. बच्चों के खिलाफ यौन हिंसा पर मीडिया के लिए मार्गदर्शिका
  10. महिलाओं में बच्चों का अवैध व्यापार: लैंगिक संवेदीकरण के लिए न्यायपालिका के लिए नियम पुस्तक
  11. यौन पर्यटन एवं अवैध व्यापार के रोक के लिए संवेदीकरण कार्यक्रम
  12. मातृत्व रक्त अल्पता तथा मानव अधिकार
  13. वृंदावन परित्यक्त महिलाओं का पुनर्वास
  14. कार्यस्थल पर महिला यौन उत्पीड़न को रोकना
  15. रेलगाड़िया में महिला यात्रियों का उत्पीड़न
  16. हाथ से मैला साफ करने की प्रथा का अंत
  17. दलितों से संबंधित मामले उन पर किए जाने वाले अत्याचार संहिता
  18. अनधिसूचित तथा घुमंतू जनजातियों की समस्याएं
  19. विकलांग व्यक्तियों के अधिकार
  20. स्वास्थ्य के अधिकार से संबंधित मामले
  21. एचआईवी एड्स संक्रमित व्यक्ति के अधिकार
  22. 1999 में उड़ीसा आए चक्रवर्ती तूफान से प्रभावित लोगों के लिए राहत कार्य 2001 के गुजरात भूकंप के बाद राहत उपायों का अनुसरण जिला परिवारवाद प्राधिकरण जनसंख्या नीति विकास
  23. कानून की समीक्षा आतंकवादी एवं विघटन कार्य गतिविधि अधिनियम तथा प्रारूप आतंकवाद निवारण विधायक 2002 सहित
  24. विद्रोह में आतंकवाद प्रभावित क्षेत्रों में मानवाधिकार संरक्षण
  25. पुलिस द्वारा गिरफ्तारी भी शक्ति का दुरुपयोग रोकने के लिए दिशा-निर्देश
  26. राज्य नगर पुलिस मुख्यालय में मानवाधिकार सेवा का गठन
  27. हिरासत में मौत, बलात्कार तथा यंत्र को रोकने के लिए उठाए गए कदम
  28. देश के लिए एक शरणार्थी कानून को अपने पर चर्चा
  29. पुलिस बंदी ग्रह अभिरक्षा के अन्य केदो में संरचनात्मक सुधार
  30. मानवाधिकार संबंधी कानून की समीक्षा संधियों का क्रियान्वयन और अंतरराष्ट्रीय नियमों की समीक्षा
  31. शिक्षा प्रणाली में मानवाधिकार साक्षरता एवं जागरूकता को बढ़ावा देना
  32. सैन्य बालों में पुलिस लोक प्राधिकारियों एवं नागरिक समाज के लिए मानवाधिकार प्रशिक्षण

FAQ :-

Q.1 राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग का मुख्यालय कहाँ स्थित है?

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग का मुख्यालय नई दिल्ली में स्थित है 

Q.2 राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के वर्तमान अध्यक्ष कौन हैं?

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के वर्तमान अध्यक्ष अरुण कुमार मिश्र जी है 

Q.3 मानवाधिकार कब मनाया जाता है?

मानवाधिकार 10 दिसंबर को मनाया जाता है

Q.4 अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस 2023 का विषय क्या है?

मानवाधिकार दिवस-2023 का थीम ” समानता, असमानताओं को कम करना, मानवाधिकारों को आगे बढ़ाना ” है।

6 thoughts on “National Human Rights Commission: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग क्या है, स्थापना, कार्य प्रणाली भूमिका”

Leave a Comment